अजमेर, राजस्थान पल्स न्यूज।
बिना योग्यता के आरपीएससी परीक्षा के लिए आवेदन करना अब भारी पड़ेगा। ऐसा करने वाले अभ्यर्थियों के खिलाफ आरपीएससी कोर्ट की शरण लेकर कानूनी कार्रवाई करने की योजना बना रही है, क्योंकि ताजा मामला असिस्टेंट प्रोफेसर (संस्कृत शिक्षा विभाग) भर्ती परीक्षा से जुड़ा है। इस भर्ती में 200 पदों की वैकेंसी के लिए 37 हजार 918 अभ्यर्थियों ने आवेदन किया था। इसमें से पहली बार 14 ऐसे अभ्यर्थी चिन्हित हुए जिन्होंने बिना योग्यता के भर्ती परीक्षा में आवेदन किया था। ऐसे में इन अभ्यर्थियों की वजह से परीक्षा आयोजित करने में लाखों रुपए खर्च होते हैं।
आरपीएसएसी के सचिव रामनिवास मेहता ने बताया कि आयोग ऐसे अभ्यर्थियों के खिलाफ भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 217 के तहत इस्तगासा(याचिका)दायर करने की तैयारी कर रही है। याचिका पर न्यायालय का निर्णय आने के बाद ऐसे कैंडिडेट्स को आयोग की सभी भर्ती परीक्षाओं से डिबार किया जाएगा।
तो लगेगा जुर्माना
जानकारी के अनुसार, बिना योग्यता के सरकारी भर्ती परीक्षा में शामिल होने वाले ऐसे अभ्यर्थियों के खिलाफ बीएनएसएस की धारा 217 के तहत कार्रवाई की जाती है। अगर कोई व्यक्ति सरकारी नौकरी पाने के लिए आवेदन पत्र में गलत जानकारी देता है, तो उसे 1 साल तक की जेल या 10 हजार रुपए तक का जुर्माना हो सकता है, या दोनों सजाएं दी जा सकती हैं।
प्रत्येक परीक्षा में होते हैं इतने खर्च
आरपीएसएसी के मुख्य परीक्षा नियंत्रक आशुतोष गुप्ता के अनुसार आयोग के जरिए होने वाली भर्ती परीक्षाओं में शामिल होने वाले प्रत्येक अभ्यर्थी पर करीब 400 रुपए खर्च होता है। इसमें शामिल होने वाले अभ्यर्थियों के लिए प्रश्नपत्र छपवाने, परीक्षा केंद्र पर जांच और बैठने की व्यवस्था, बिजली, परीक्षकों की नियुक्ति का सारा खर्च सरकार को उठाना पड़ता है। ऐसे में अयोग्य अभ्यर्थियों के जरिए भर्ती परीक्षाओं में आवेदन करने से लाखों रुपए का अनावश्यक खर्च होता है। ऐसे अभ्यर्थियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई के साथ ही अन्य विकल्प बंद किए जा रहे हैं, ताकि ऐसे अयोग्य अभ्यर्थी भर्ती परीक्षा में शामिल नहीं हो सकें।